क्रिप्टो बाजार के खतरे क्या हैं?

Cryptocurrency Luna Crash: करंसी डूबने से सदमे में निवेशक, जानिए डिलिस्टिंग के बाद क्या फिर से हो पाएगी खड़ी
Luna Crypto Crash: लूना नाम की क्रिप्टोकरेंसी करीब करीब 100 प्रतिशत टूट चुकी है. टेरा और लूना के साथ ही दूसरी क्रिप्टोकरेंसियों में भारी गिरावट देखने को मिल रही है. आगे की ये हो रणनीति.
By: ABP Live | Updated at : 17 May 2022 08:18 AM (IST)
Cryptocurrency Crash: क्रिप्टोकरेंसी का बाजार बेहद अनिश्चितताओं वाला है. यहां एक पल भर में निवेशक आसमान पर पहुंच जाता है तो दूसरे ही पल जमीन पर आ गिरता है. बीते दिनों से डिजिटल करेंसी के बाजार में जो हालात हैं, उन्हें देख निवेशकों में नकारात्मक भावना घर कर गई है. दरअसल बिटक्वाइन-इथेरियम से लेकर ज्यादातर करेंसी धराशायी हो चुकी हैं.
इस दौरान सबसे ज्यादा झटका टेरा और उसकी सिस्टर करेंसी लूना के निवेशकों को लगते देखा गया है. इन दोनों में इतनी गिरावट आई कि एक्सचेंजों ने इन्हें डिलिस्ट कर दिया है.
एक झटके में भयंकर घाटा
टेरा का हाल बेहाल होने से निवेशकों को चूना लगा ही था. इसके बाद टेरा के कदम से कदम मिलाते हुए लूना इस क्रिप्टो बाजार के खतरे क्या हैं? कदर टूटा कि अपने निवेशकों को पूरी तरह से झकझोर कर रख दिया. क्रिप्टोकरेंसी लूना लगभग 100 प्रतिशत टूट चुकी है, रिपोर्ट की मानें तो इसका दाम 9000 रुपये से गिरकर 50 पैसे रह गया है. शनिवार को इसमें आई गिरावट से निवेशकों के करीब 40 अरब डॉलर डूब गए थे.
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क्रिप्टो बाजार के खतरे दिखे
लूना में आई इस बड़ी गिरावट ने उन बातों की पुष्टि की है कि क्रिप्टोकरेंसी के बाजार में ऐसी अनियमितता है जो निवेशकों के लिए बड़ा खतरा हो सकती है. बीते काफी समय से क्रिप्टोकरेंसियों में गिरावट का जो दौर जारी है, उससे टेरा या लूना ही नहीं, बल्कि दुनिया के सबसे लोकप्रिय बिटक्वाइन समेत अन्य का भी बुरा हाल है. बिटक्वाइन अपने उच्च स्तर से 50 प्रतिशत से ज्यादा क्रिप्टो बाजार के खतरे क्या हैं? तक टूट चुका है. इस समय क्रिप्टो बाजार में बिकवाली का असर भी गिरावट के रूप में साफ दिखाई दे रहा है.
डिलिस्ट हुई करंसी
सबसे बड़ी गिरावट के चलते एक्सचेंजों ने लूना और टेरा दोनों को प्लेटफॉर्म से डिलिस्ट कर दिया है यानी हटा दिया है. इनकी कीमत में भारी गिरावट आने पर क्रिप्टो एक्सचेंज इसे अपने प्लेटफॉर्म से हटा देते हैं. ऐसा इसलिए होता है ताकि नए निवेशक उस क्रिप्टो को न खरीद सकें. चूंकि लूना का दाम बहुत गिरा है, ऐसे में नए निवेशक इस उम्मीद में इसे खरीद सकते हैं कि इसकी वैल्यू फिर से बढ़ सकती है.
वैसे अगर कोई क्रिप्टो कुछ एक्सचेंज पर डिलिस्ट हो गई है तो भी निवेशक ऐसे एक्सचेंज पर उन्हें ट्रांसफर कर सकते हैं जहां पर वे अब भी लिस्टेड हैं.
गिरावट की असली वजह
क्रिप्टोकरेंसी बाजार में लगातार आ रही भारी गिरावट की बड़ी और असल वजह स्टेबलक्वाइन है. दरअसल, इस वक्त स्टेबलक्वाइन में अस्थिरता बनी हुई है, जिसका सबसे खराब असर टेरा और लूना क्वाइन पर पड़ा है. लूना के दाम में 100 प्रतिशत की गिरावट आई है. क्रिप्टो एक्सचेंज यूनोकॉन के सीईओ और को-फाउंडर सात्विक विश्वनाथ ने कहा कि इस वक्त दुनियाभर के इक्विटी और कमोडिटी बाजारों में भारी गिरावट आ रही है, जिसका असर क्रिप्टो मार्केट पर भी पड़ रहा है.
विशेषज्ञ बोले-गिरावट से लेना होगा सबक
विशेषज्ञ इस गिरावट की तुलना 2008 के बड़े वित्तीय संकट से कर रहे हैं. उनका कहना है कि ये हमें वित्तीय संपत्तियों को नियंत्रित करने वाले सख्त कानूनों की मांग करने के लिए भी प्रेरित कर रही है. मुथूट माइक्रोफिन के सीईओ सदफ सईद समेत कई वित्तीय विशेषज्ञों ने कहा कि इस लूना दुर्घटना को एक सबक के तौर पर लेना चाहिए.
खासकर, उन विकासशील देशों में जहां हाल ही में अमीर बनने वाले लोगों के लिए क्रिप्टोकरेंसी में निवेश एक सनक के तौर पर सामने आया है. बहरहाल, लूना में जो गिरावट है उसके फिर से खड़े होने पर भी सवाल खड़े हो गए हैं.
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Published at : 17 May 2022 08:25 AM (IST) Tags: Money Cryptocurrency Investment LUNA TERA हिंदी समाचार, ब्रेकिंग न्यूज़ हिंदी में सबसे पहले पढ़ें abp News पर। सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट एबीपी न्यूज़ पर पढ़ें बॉलीवुड, खेल जगत, कोरोना Vaccine से जुड़ी ख़बरें। For more related stories, follow: News in Hindi
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क्रिप्टो में क्यों आया भूचाल? क्या निवेशकों को क्रिप्टो पर अब भरोसा नहीं रहा? क्रिप्टो में कितना रिस्क? जानिए क्रिप्टोकरेंसी पर पूरा एनालिसिस एलिमेंट प्लेटफॉर्म्स के चेयरमैन और मार्केट एक्सपर्ट अजय बग्गा से.
Cryptocurrency: क्रिप्टो करेंसी से अर्थव्यवस्था के एक हिस्से के ‘डॉलरीकरण’ का खतरा, आरबीआई अधिकारी बोले-भारत के संप्रभु हितों के खिलाफ, जानें क्या है वजह
Cryptocurrency: पूर्व वित्त राज्यमंत्री जयंत सिन्हा की अगुवाई वाली वित्त पर संसद की स्थायी समिति के समक्ष रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास समेत शीर्ष अधिकारियों ने अपनी बात रखी।
बजट में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने क्रिप्टो करेंसी और इससे जुड़ी परिसंपत्तियों के कारोबार पर 30 फीसदी कर लगाने की घोषणा की थी।
Highlights वित्तीय प्रणाली की स्थिरता को लेकर चुनौतियां खड़ी होंगी। केंद्रीय बैंक की क्षमता को गंभीर रूप से कमतर करेगी। मादक पदार्थों की तस्करी में भी क्रिप्टो करेंसी का इस्तेमाल किया जा सकता है।
Cryptocurrency: भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के शीर्ष अधिकारियों ने एक संसदीय समिति से कहा है कि क्रिप्टो करेंसी से अर्थव्यवस्था के एक हिस्से का ‘‘डॉलरीकरण’’ हो सकता है जो भारत के संप्रभु हितों के खिलाफ होगा।
सूत्रों ने बताया कि पूर्व वित्त राज्यमंत्री जयंत सिन्हा की अगुवाई वाली वित्त पर संसद की स्थायी समिति के समक्ष रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास समेत शीर्ष अधिकारियों ने अपनी बात रखी। उन्होंने क्रिप्टो करेंसी को लेकर अपनी आशंकाओं से उन्हें अवगत करवाया और कहा कि इससे वित्तीय प्रणाली की स्थिरता को लेकर चुनौतियां खड़ी होंगी।
समिति के एक सदस्य के मुताबिक, रिजर्व बैंक के अधिकारियों ने कहा, ‘‘यह मौद्रिक नीति तय करने और देश की मौद्रिक प्रणाली का नियमन करने की केंद्रीय बैंक की क्षमता को गंभीर रूप से कमतर करेगी।’’ उन्होंने कहा कि क्रिप्टो करेंसी में विनिमय का माध्यम बनने की क्षमता है और यह घरेलू स्तर पर तथा सीमापार होने वाले वित्तीय लेनदेन में रुपये का स्थान ले सकती है।
केंद्रीय बैंक के अधिकारियों ने कहा कि ये करेंसी ‘‘मौद्रिक प्रणाली के एक हिस्से पर काबिज हो सकती है और प्रणाली में धन के प्रवाह के नियमन की आरबीआई की क्षमता को भी कमतर कर सकती है।’’ रिजर्व बैंक के अधिकारियों ने आगाह किया कि आतंक के वित्तपोषण, धनशोधन और मादक पदार्थों की तस्करी में भी क्रिप्टो करेंसी का इस्तेमाल किया जा सकता है और यही नहीं, यह देश की वित्तीय प्रणाली की स्थिरता के लिए बड़ा खतरा बन सकती है। उन्होंने संसदीय समिति से कहा, ‘‘लगभग सभी क्रिप्टो करेंसी डॉलर पर आधारित हैं और इन्हें विदेशी निजी संस्थान जारी करते हैं।
ऐसे में संभव है कि इससे हमारी अर्थव्यवस्था के कुछ हिस्से का डॉलरीकरण हो जाए जो देश के संप्रभु हितों के खिलाफ होगा।’’ आरबीआई के अधिकारियों ने कहा कि क्रिप्टो करेंसी का बैंकिंग प्रणाली पर भी नकारात्मक असर होगा क्योंकि आकर्षक परिसंपत्तियां होने के कारण हो सकता क्रिप्टो बाजार के खतरे क्या हैं? है कि लोग अपनी मेहनत की कमाई इनमें लगाएं जिसके परिणामस्वरूप बैंकों के पास देने के लिए संसाधनों की कमी हो।
अधिकारियों ने आगाह किया कि आगे जाकर, क्रिप्टो का बुलबुला फूटेगा और इससे आम जनता को गाढ़ी मेहनत से की गई बचत से हाथ धोना पड़ सकता है। इस साल के बजट में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने क्रिप्टो करेंसी और इससे जुड़ी परिसंपत्तियों के कारोबार पर 30 फीसदी कर लगाने की घोषणा की थी।
एक अनुमान के मुताबिक, देश में क्रिप्टो में निवेश करने वाले लोगों की संख्या 1.5 करोड़ से दो करोड़ के बीच है जिनके पास करीब 5.34 अरब डॉलर क्रिप्टो करेंसी है। भारत के क्रिप्टो बाजार के आकार के बारे में कोई आधिकारिक आंकड़ा उपलब्ध नहीं है। यह संसदीय समिति वित्त नियामकों के साथ व्यापक विचार-विमर्श कर रही है।
अमेरिकी नियामकों ने वित्तीय स्थिरता को खतरे में डालने वाली क्रिप्टो की चेतावनी
जब से बिटकॉइन को एक दशक से अधिक समय पहले लॉन्च किया गया था, तब से एक अज्ञात व्यक्ति जिसे सतोशी नाकामोटो के नाम से जाना जाता है, क्रिप्टोकरेंसी रहस्य में डूबी हुई है। यह विडंबना है कि जहां ब्लॉकचेन-आधारित मुद्राएं अनियमित मुद्राएं पारदर्शिता का वादा करती हैं, वहीं वे अपनी दरों में अप्रत्याशित उतार-चढ़ाव के लिए भी जानी जाती हैं। हालांकि 2017 में बिटकॉइन में उछाल ने कई लोगों को रातोंरात अरबपति बना दिया, लेकिन क्रिप्टो कमजोर होने पर न केवल गिरता है, यह बस दुर्घटनाग्रस्त हो जाता है। यह बताता है कि क्यों दुनिया भर में और अमेरिका में बैंकिंग नियामक इस डिजिटल संपत्ति की अस्थिरता के बारे में आशंकित हैं।
वर्तमान में, अमेरिका में कई नियामक मानदंडों की मांग कर रहे हैं, जो स्थिर स्टॉक से जुड़े जोखिमों से निपट सकते हैं। यह इस साल एक और विडंबनापूर्ण मोड़ के बाद आया है, जब स्थिर मुद्रा टेरा (यूएसटी) और उसकी बहन टोकन लूना दुर्घटनाग्रस्त हो गई, और उनके साथ निवेशकों की संपत्ति में $ 60 बिलियन का नुकसान हुआ। ये परिसंपत्तियां अन्य क्रिप्टो सिक्कों से अलग हैं, क्योंकि वे अमेरिकी डॉलर के मूल्य या सोने जैसी संपत्ति के लिए अधिक स्थिर होने के लिए आंकी गई हैं। लेकिन टेरा एक एल्गोरिथम स्थिर मुद्रा थी, जिसने एल्गोरिदम से मूल्य प्राप्त किया जो बदले में अन्य क्रिप्टो संपत्तियों से जुड़ा हुआ है।
सिफारिशें वित्तीय स्थिरता निरीक्षण परिषद द्वारा बनाई गई 125-पृष्ठ की रिपोर्ट के साथ आईं, जो चिंतित है कि अस्थिर क्रिप्टोकरेंसी अमेरिकी अर्थव्यवस्था को नुकसान पहुंचा सकती है। यह परिषद 2008 की वित्तीय दुर्घटना के बाद जोखिमों को पहचानने और अस्थिरता से बचने के लिए बनाई गई थी। जैसा कि इस साल टेरा दुर्घटना क्रिप्टो बाजार के खतरे क्या हैं? से पता चला है, स्थिर स्टॉक पर उनके अवलोकन में वजन होता है, क्योंकि क्रिप्टोक्यूरेंसी, अन्य क्रिप्टो परिसंपत्तियों पर निर्भर है, खुद को अस्थिर नींव पर खड़ा माना जाता है।
आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने इस साल की शुरुआत में इस पर प्रकाश डाला, जब उन्होंने कहा कि क्रिप्टोकुरेंसी अटकलों के अलावा कुछ भी नहीं है, क्योंकि यह मेक-बिलीव से मूल्य खींचती है। भारतीय बैंकिंग नियामक हमेशा क्रिप्टो के खिलाफ सतर्क रहा है और उसने सरकार से इसे प्रतिबंधित करने का भी आह्वान किया है। लेकिन इस पर राज्य के रुख पर स्पष्टता का अभाव है, क्योंकि इसने अपनी वैधता के बारे में कुछ भी कहे बिना, क्रिप्टो ट्रेडिंग से अर्जित मुनाफे पर कर लगाया है।
क्रिप्टो बाजार में भारत एक महत्वपूर्ण ताकत है, क्योंकि दुनिया भर में इसके 30 करोड़ क्रिप्टो मालिकों में से 10 करोड़ हैं, और यह डिजिटल संपत्ति पर देश का स्टैंड महत्वपूर्ण बनाता है। विनियमन की कमी से और दुख होता है, क्योंकि भारतीयों को पहले ही क्रिप्टो घोटालों में ₹ 1000 करोड़ से अधिक का नुकसान हो चुका है। जबकि भारत में क्रिप्टो प्रतिबंध के बारे में कोई स्पष्टता नहीं है, इसका केंद्रीय बैंक अपनी डिजिटल मुद्रा, सीबीडीसी जारी करने के लिए तैयार है।
क्रिप्टो व्यापार करना सीखें
निवेशक क्रिप्टोक्यूरेंसी ट्रेडिंग को पसंद हैं क्योंकि वे बहुत अस्थिर हैं और यदि बाजार में सही ढंग से समय बद्ध हैं, तो ट्रेडिंग क्रिप्टो मुद्राएं पारंपरिक निवेशों की तुलना में बहुत क्रिप्टो बाजार के खतरे क्या हैं? अधिक रिटर्न ला सकती हैं। यह मत भूलो कि क्रिप्टोकरेंसी ट्रेडिंग अपनी अस्थिर प्रकृति के कारण जोखिम भरा और लाभदायक दोनों है। वैसे हेजिंग या डाइवर्सिंग से रिस्क कम किया जा सकता है.
क्रिप्टो मुद्रा व्यापार एक सीएफडी ट्रेडिंग खाते के माध्यम क्रिप्टो बाजार के खतरे क्या हैं? से किया जा सकता है या एक्सचेंज के माध्यम से आधार सिक्के खरीदने और बेचने के लिए किया जा सकता है। क्रिप्टो मुद्रा सीएफडी ट्रेडिंग व्यापारियों को अंतर्निहित सिक्कों के मालिक बनने के बिना क्रिप्टो मुद्राओं के मूल्य आंदोलनों पर अनुमान लगाने की अनुमति देता है.
व्यापारी लंबे या छोटे हो सकते हैं यदि उन्हें लगता है कि क्रिप्टोक्यूरेंसी मूल्य में वृद्धि या गिरावट आएगी। क्रिप्टो मुद्रा CFDs को उत्तोलन के साथ कारोबार किया जा सकता है, हालांकि लाभ या हानि की गणना अभी भी आपके पूर्ण स्थिति आकार के अनुसार की जाती है, इसलिए उत्तोलन लाभ और हानि दोनों को बढ़ाता.
जैसा कि आप देख सकते हैं, क्रिप्टो मुद्राओं का व्यापार करना काफी मुश्किल है.
लेकिन यह उतना कठिन नहीं है जितना कि यह ध्वनि हो सकता है.
लेट देखें कि यह कैसे काम करता है
क्रिप्टो मुद्रा व्यापार के बारे में जानें
क्रिप्टो करेंसी के साथ व्यापार करना सीखना भ्रमित हो सकता है। आइए देखें कि क्या हम आपको क्रिप्टो के साथ अधिक आरामदायक व्यापार महसूस करने में मदद करने के लिए मूल बातें तोड़ सकते हैं.
जैसा कि हमने पहले कहा था कि क्रिप्टो मुद्रा के साथ कोई क्रिप्टो बाजार के खतरे क्या हैं? भी व्यापार जोखिम का एक बड़ा सौदा के साथ आता है, क्योंकि यहां तक कि अधिक लोकप्रिय क्रिप्टो मुद्राओं की अस्थिरता काफी अप्रत्याशित हो सकती है, जो एक जोखिम है जिसे प्रबंधित किया जा सकता है, लेकिन हम इसके बारे में एक और लेख में बात करेंगे.
नोट: हमेशा उतना ही निवेश करें जितना आप खोने का जोखिम उठा सकते हैं, और अधिक नहीं