Pi क्रिप्टोकुरेंसी क्या है

जहाँ तक मुझे पता है, रूस की तरह इस देश में अभी तक pi network mining coin पर प्रतिबंध नहीं है। हालाँकि, यह देश वर्तमान में रूस-यूक्रेन युद्ध में रूस के साथ सहयोग कर रहा है। इसलिए, यदि भविष्य में रूस में पाई खनन पर प्रतिबंध लगा दिया जाता है, तो मुझे लगता है कि इस देश के भी शामिल होने की संभावना है।
On March 6, 2022, a country occurred where Pi Network mining was stopped.
pi network mining जल्द ही सभी वैश्विक उपयोगकर्ताओं के लिए “KYC (अपने ग्राहक को जानें)” चलाएगा। जब आप केवाईसी पूरा करते हैं, तो आपको पाई प्राप्त होगी जिसके लिए स्वामित्व को क्रमिक रूप से आपके pi mainnet wallet में मान्यता दी जाती है।
इसके अलावा, पाई नेटवर्क दुनिया भर के लगभग 233 देशों में परियोजनाओं का संचालन कर रहा है। ऐसे में कोर टीम दुनियाभर में केवाईसी कराने के मुश्किल काम की तैयारी कर रही है.
यह ज्ञात है कि KYC सत्यापन कार्यक्रम बनाना अपने आप में मुश्किल नहीं है। और ऐसी कई कंपनियां हैं जो केवल इन कार्यक्रमों को विकसित करने में माहिर हैं।
लेकिन आपको pi network minning kyc को सिर्फ सॉफ्टवेयर नहीं समझना चाहिए। यह प्रत्येक देश की नीतियों को भी संतुष्ट करने में सक्षम होना चाहिए, जैसे कि जीडीपीआर, यूरोप का व्यक्तिगत सूचना संरक्षण कानून, और एएमएल, संयुक्त राज्य अमेरिका में एक मनी लॉन्ड्रिंग विरोधी कानून।
उन देशों के बारे में जहां pi network mining speed बंद हो गई है।
और मुझे लगता है कि भविष्य में इस सूची में शायद और भी देश शामिल होंगे। यदि आप सोच रहे हैं कि आप ऐसा क्यों सोचते हैं, तो कृपया आगे पढ़ते रहें।
Pi Network को अमेरिका के California में विकसित किया जा रहा है। इसका मतलब यह है कि कोई फर्क नहीं पड़ता कि पीआई कोर टीम विकेंद्रीकरण के उद्देश्य से क्रिप्टोकरेंसी कैसे विकसित करती है, उन्हें अंततः अमेरिकी कानूनों का पालन करना होगा। आखिरकार, पाई नेटवर्क के लिए केवाईसी को सफलतापूर्वक संचालित करने के लिए, इसे उन देशों के लिए केवाईसी प्रक्रिया प्रदान नहीं करनी चाहिए जो संयुक्त राज्य द्वारा कानूनी Pi क्रिप्टोकुरेंसी क्या है रूप से प्रतिबंधित हैं।
वर्तमान में संयुक्त राज्य अमेरिका में, “AML (Anti-Money Laundering Act)”, “CTA (Counter-Terrorism Act)”, CRYPTOCURRENCY परियोजनाओं की अनुमति उन देशों में नहीं है जो कानून का उल्लंघन कर रहे हैं। “विकेंद्रीकरण” नामक क्रिप्टोकरेंसी की प्रकृति के कारण, इसका कारण उन्हें आतंकवादियों जैसे अपराधों के लिए धन का स्रोत बनने से रोकना है।
About China
“क्या यह संभव नहीं है कि चीन पर भी प्रतिबंध लगाया जा सकता है?” ऐसे कई लोग हैं जिनके पास सवाल है। लेकिन यह चिंता की कोई बात नहीं है। मैंने चित्र नहीं लिया, लेकिन मैंने चैट में डॉ निकोलस को स्वयं इस प्रश्न का उत्तर देते हुए देखा।
इसके अलावा, आज Total users of Pi network mining में से आधे से अधिक चीनी हैं, जिसके 75% नोड हैं। दुनिया भर में ऐसे बहुत से लोग हैं जो हाल ही में चीन के बारे में बुरी भावना रखते हैं, इसलिए मुझे लगता है कि आप में से कुछ इस बारे में असहज महसूस कर सकते हैं। हालांकि, निष्पक्ष रूप से, यदि सभी चीनी पाई नेटवर्क से बच गए, तो कोर टीम को pi network mining rate, economic system तंत्र के विस्तार को काफी नुकसान होगा।
बेशक, मुझे नहीं लगता कि कोर टीम इसे रोक सकती है अगर अमेरिकी सरकार इसे दृढ़ता से नियंत्रित करती है। हालांकि, फिलहाल ऐसा कोई आंदोलन नहीं है। और मुझे लगता है कि कोर टीम शायद इस वास्तविकता से अच्छी तरह वाकिफ है। इसलिए, भले ही चीन को PI NETWORK के साथ कोई समस्या आती है, मुझे लगता है कि कोर टीम इस देश के लिए अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करेगी।
Pi Cryptocurrency क्या है ?
Table of Contents
PI क्रिप्टो करेंसी का ही एक प्रकार है और यह आपके डिजिटल वॉलेट में जमा रहती है | यह आपको अपने मोबाइल से माइनिंग करके pi coin कमाने का मौका देती है | नेटवर्क एक ऐसी अकेली क्रिप्टोकरंसी संस्था है जो अपने निवेशकों को अपने मोबाइल से ही माइन यानी कमाने का मौका देती है | PI निवेशकों को PIONNERS के नाम से भी जानते हैं | आने वाले कुछ दिनों में pi नेटवर्क की बात करे तो बाज़ार निवेशको के लिए यह बहुत लाभदायक साबित होने वाला है क्योंकि इसकी प्रकृति बहुत अच्छा रिटर्न देने वाली है|
PI क्रिप्टो करेंसी एक नेटवर्क भी है इसलिए यह आपको PI COIN कमाने का मौका भी देती है |
PI network और इससे होने वाली कमाई ?
पाई नेटवर्क मॉडल डिजिटल करेंसी है जो आप अपने मोबाइल से माइनिंग करके कमा सकते हैं और यह एक ऐसा मौका है जो पहली बार किसी डिजिटल करेंसी के द्वारा मोबाइल से कमाया जा सकता है | इस ऐप को डाउनलोड करने के लिए आपको अपने फोन से गूगल प्ले स्टोर में जाकर PI NETWORK ऐप डाउनलोड करना होगा | इसके बाद आप इस एप पर अपनी फेसबुक आईडी से लॉगिन करेंगे और जब आप लॉगिन करेंगे तो आपको एक रेफरेंस कोड की जरूरत होगी | यदि आपके पास कोई रेफरेंस कोड नहीं है, तो आप पाई नेटवर्क ऐप में लॉग इन नहीं कर पाएंगे और आपका अकाउंट नहीं बन पाएगा |
यह राशन कॉर्ड उसी व्यक्ति का होना चाहिए जो पाई नेटवर्क पर माइनिंग कर रहा हूं क्योंकि अगर उसने माइनिंग करना बंद कर दिया तो Pi क्रिप्टोकुरेंसी क्या है आपका भी खाता अपने आप स्वता ही बंद हो जाएगा |
Pi network का इतिहास?
पाइनएप्पल को स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी में पढ़ने वाले तीन पीएचडी ग्रैजुएट स्टूडेंट ने मिलकर के मार्च 2019 में बनाया था इन व्यक्तियों के नाम VINCE MACPHILIP ,CHENDIAO FAN, और NICOLAS KOKKALIS है |
PI CURRENCY को छोड़कर सभी क्रिप्टोकरंसी के माइनिंग करने की तरीका बहुत कठिन होता है | इसके लिए निवेशकों को सीपीयू, कंप्यूटर काफी एडवांस टेक्नोलॉजी के चाहिए होते हैं यदि आपके पास लेटेस्ट टेक्नोलॉजी का पीसी या कंप्यूटर नहीं है तो आप हो दूसरे क्रिप्टो करेंसी में निवेश करने में कठिनाई आ सकती है |
क्रिप्टो करेंसी की माइनिंग करने के लिए सबसे जरूरी बात के आपको एल्गोरिदम को सॉल्व करना आना चाहिए तभी आपको डिजिटल मुद्राएं प्राप्त हो पाएंगे |
PI NETWORK के साथ ऐसे किसी भी दिक्कत का सामना आपको माइनिंग करने के समय नहीं आता है ना ही इसके लिए आपको सीपीयू या कंप्यूटर की जरूरत है और ना ही किसी एडवांस टेक्नोलॉजी वाले बड़े से सिस्टम की इसके लिए आपके पास सिर्फ एक एंड्रॉयड फोन होना चाहिए इंटरनेट होना चाहिए और आपको अपने इस स्मार्टफोन में एक ऐप एप्लीकेशन डाउनलोड करना होता है और इसे आप फ्री में माइनिंग कर सकते हैं बाकी जगह पर माइनिंग करने के लिए आपको निवेश करने की जरूरत होती है |
PI नेटवर्क क्या है | What is PI network in Hindi
Cryptocurrency एक डिजिटल मुद्रा होती है, यानि इसका वर्चुअल रूप होता है, जिसे आप छू नहीं सकते बल्कि इस मुद्रा को आप अपने कंप्यूटर, लैपटॉप या मोबाइल के द्वारा देख सकते हैं, और यह मुद्रा आपके डिजिटल wallet में जमा रहती है।
क्रिप्टोकरेंसी को सरकार या बैंक द्वारा जारी नहीं किया जाता है, बल्कि इसे किसी कम्युनिटी द्वारा जारी किया जाता है। क्रिप्टोकरेंसी blockchain टेक्नोलॉजी पर आधारित होती है, और इसे Cryptography द्वारा सुरक्षित रखा जाता है। क्रिप्टोग्राफ़ी एक प्रकार की एन्क्रिप्शन सुरक्षा प्रणाली होती है, जिससे इस डिजिटल मुद्रा को सुरक्षा प्रदान की जाती है और इससे छेड़-छाड़ करना किसी के लिए भी आसान नहीं होता।
यदि क्रिप्टोकरेंसी को खर्च करने की बात की जाए तो इसका उपयोग किसी भी दूसरी मुद्रा की तरह ही डिजिटली सामान खरीदने और Services के लिए किया जा सकता है, या इसे बेच कर बदले में दूसरी मुद्रा भी ली जा सकती है।
PI नेटवर्क क्या है | What is PI network in Hindi
PI Cryptocurrency को Stanford university California में पढ़ने वाले तीन PHD Graduates ने मिलकर मार्च 2019 में तैयार किया था। यह अब तक की सबसे पेहली cryptocurrency है,जिसे मोबाइल पर भी mine किया जा सकता है,यानि पिछली किसी भी डिजिटल करेंसी में मोबाइल फ़ोन पर माइनिंग की सुविधा उपलब्ध नहीं थी।
वैसे तो cryptocurrency माइनिंग की प्रक्रिया काफी जटिल और खर्चीली होती है,और इसके लिए विशेष उपकरणों की भी आवश्यकता पड़ती है,लेकिन PI नेटवर्क में इस पूरी जटिल प्रक्रिया को आसान बनाया गया है।
आप किसी भी समय PI network app को फ्री में गूगल प्लेस्टोरे से डाउनलोड कर अपने स्मार्टफोन से mine (earn) कर सकते हैं,यानि अगर किसी यूजर को डिजिटल करेंसी माइन करने का पिछले कोई अनुभव नहीं है,तो भी वह इसकी इंस्टालेशन आसानी से कर सकता है और Mining शुरू कर सकता है।
PI App Installation
यदि आप भी PI APP का उपयोग करना चाहते हैं,तो इसके लिए आपको गूगल प्ले स्टोर पर जाकर इस app को डाउनलोड करना होगा।
- सबसे पहले आपको अपने मोबाइल नंबर या फेसबुक अकाउंट से इसमें signup करना है।
- अब अपना एक पासवर्ड create करना है,और अपने पास नोट कर लेना है।
- इसके बाद आपको अपना पहला और आखिरी नाम डालना है,जो की आपके Pi क्रिप्टोकुरेंसी क्या है आधार कार्ड के अनुसार होना चाहिए और नीचे अपना एक अलग user name बनाना है।
- अगले step में आपको एक Invitation code के लिए पूछा जाएगा जहाँ पर आप मेरा कोड mannu007 डाल सकते हैं।
- अब आपका अकाउंट बन चूका है,और आप माइनिंग शुरू Pi क्रिप्टोकुरेंसी क्या है कर सकते हैं।
PI NETWORK DEFI
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BNB Smart Chain (BEP20)
Pi Network DeFi कीमत से जुड़ा विवरण
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काम के रिसोर्स
अगर आप क्रिप्टो की दुनिया में नए हैं, तो Bitcoin, Ethereum और अन्य क्रिप्टोकरेंसी खरीदना शुरू करने के बारे में जानने के लिए Crypto.com यूनिवर्सिटी और हमारे हेल्प सेंटर का इस्तेमाल करें।
अपने पसंद की फ़िएट करेंसी में Pi Network DeFi की मौजूदा कीमत लाइव देखने के लिए, आप इस पेज के ऊपरी दाएँ कोने में मौजूद Crypto.com के कन्वर्टर फ़ीचर का इस्तेमाल कर सकते हैं।
Pi Network DeFi का प्राइस पेज Crypto.com प्राइस इंडेक्सका हिस्सा है जो टॉप क्रिप्टोकरेंसी के लिए प्राइस हिस्ट्री, प्राइस टिकर, मार्केट कैप और लाइव चार्ट को फ़ीचर करता है।
तो क्या क्रिप्टो करेंसी लीगल हो गई?
बजट में हुए इस ऐलान के बाद ज्यादातर लोगों के मन में ये सवाल है कि क्या सरकार ने डिजिटल करेंसी पर टैक्स लगा कर इसे लीगल कर दिया है? जवाब है- नहीं. इसे ऐसे समझिए, सरकार सिर्फ उस डिजिटल करेंसी (Digital Currency) को लीगल यानी वैध मानती है, जिसे Reserve Bank of India-RBI जारी करता है या करेगा. मतलब अभी जो Bitcoin जैसी Crypto Currency हैं, वो वैध नहीं है. बजट भाषण के बाद पत्रकारों से सवाल-जवाब में वित्तमंत्री ने साफ किया कि क्रिप्टो की वैधता को लेकर सरकार में चर्चा जारी है लेकिन अब तक कोई फैसला नहीं हुआ है. उन्होंने कहा कि सेंट्रल बैंक के फ्रेमवर्क के बाहर जो भी क्रिप्टोकरेंसी हैं, वे करेंसी नहीं हैं. अगर कोई आपसे कहे कि ये लीगल हो गई हैं तो जब तक सरकार नहीं कहती, मानिएगा नहीं. यहां पर गौर करने की बात ये भी है कि सरकार अप्रैल से शुरू होने वाले कारोबारी साल में अपनी डिजिटल करेंसी लाने की भी तैयारी में है जिसका जिक्र वित्तमंत्री ने अपने भाषण में किया. जाहिर है ये करेंसी पूरी तरह लीगल होगी.
वर्चुअल एसेट से वित्तमंत्री का मतलब क्या है?
आसान तरीके से समझें तो आप जो सोना खरीदते हैं या जो घर खरीदते हैं, वो आपकी Assets होती है. मतलब आपकी सम्पत्ति, ना कि ये करेंसी है. ठीक इसी तरह Crypto Currency भारत सरकार के लिए एक Asset होगी और इस पर लोगों से टैक्स वसूला जाएगा. अगर आप ये सोच रहे हैं कि Bitcoin, Ethereum, Tether, Ripple जैसी डिजिटल करेंसी को लीगल माना गया है तो तकनीकी तौर पर बिल्कुल सही नहीं है. हालांकि, लोग इसमें निवेश कर सकेंगे.
सरकार के प्रतिनिधियों ने ये भी बताया कि देश में क्रिप्टोकरेंसी ट्रांजैक्शन साल 2017 से ही सरकार के राडार पर है. इस पर टैक्स लगाने से सरकारी खजाने में मोटी रकम पहुंचनी तय है. अभी अमेरिका, ब्रिटेन, इटली, Netherlands और ऑस्ट्रेलिया जैसे देशों में वर्चुअल करेंसी (Virtual Currency) पर वहां की सरकारें टैक्स लगाती हैं. सरकार के इस फैसले के पीछे एक बड़ी वजह ये हो सकती है कि, हमारे देश में जितने लोगों ने CryptoCurrency में निवेश किया है, वो देश की आबादी का लगभग 8% हैं. RBI के आंकड़ों के मुताबिक, इन लोगों ने अपने 70 हजार करोड़ रुपए इस समय ऐसी Virtual Currency में लगाए हुए हैं. पूरी दुनिया में CryptoCurrency में ट्रेड करने के मामले में भारतीय सबसे आगे हैं. सरल शब्दों में कहें तो ये 30 प्रतिशत टैक्स, सीधे तौर पर 70 हजार करोड़ रुपए के निवेश को एक गारंटी देगा और हो सकता है कि भारत में इसका इस्तेमाल बढ़ जाए.
गिफ्ट पर भी लगेगा टैक्स, ऐसे होगा कैलकुलेट
बजट पेश करते हुए वित्त मंत्री ने वर्चुअल एसेट्स (Virtual Assets) के ट्रांजैक्शन से हुई कमाई पर 30% टैक्स लगाने का प्रस्ताव किया. क्रिप्टोकरेंसी गिफ्ट करने को भी ट्रांजेक्शन माना जाएगा. मतलब अगर आप क्रिप्टोकरेंसी किसी को गिफ्ट में देते हैं तब भी 30 फीसदी टैक्स की देनदारी बनेगी. गिफ्ट किए जाने के मामले में उस समय की वैल्यू पर टैक्स लगेगा. इस वैल्यू को Recipient का इनकम माना जाएगा और उसे वैल्यू पर टैक्स देना होगा.
एक और बात जो नोटिस करने वाली है कि ये नया टैक्स आने वाले कारोबारी साल यानी 1 अप्रैल से लागू होगा. यानी क्रिप्टो में कारोबार करने वालों के पास फिलहाल 31 मार्च तक की मोहलत है. वित्त मंत्री ने यह भी प्रस्ताव किया कि डिजिटल एसेट्स के दायरे में क्रिप्टोकरेंसी के अलावा NFT समेत सारे टोकन आते हैं, जो सेंट्रल बैंक के फ्रेमवर्क में नहीं हैं. वित्त मंत्री ने यह भी बताया कि रिजर्व बैंक की डिजिटल करेंसी आने आने वाली है. ये सारे बदलाव बजट पर कैबिनेट की मुहर लगने के बाद 1 अप्रैल 2022 से लागू हो जाएंगे.