हड़ताल मूल्य

पॉलिसी को लेकर यह बोले सीएम मनोहर लाल
हड़ताल मूल्य
भोपाल (ईन्यूज एमपी)-कांग्रेस सांसद राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा मध्यप्रदेश पहुंच चुकी है। सुबह 7 बजे राहुल बोदरली गांव पहुंचे। महाराष्ट्र के जलगांव जामोद से सुबह 6 बजे राहुल गांधी का काफिला रवाना हुआ था। यहां पहुंचते ही कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने राहुल का जोरदार स्वागत किया। उनकी आरती उतारी गई। बंजारा लोक नृत्य कलाकार रीना नरेंद्र पवार ने उनके स्वागत में लोक नृत्य की प्रस्तुति दी। पूर्व मुख्यमंत्री व प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने स्वागत करते हुए कहा कि यात्रा को सबसे ज्यादा जनसमर्थन मध्यप्रदेश में मिलेगा।
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा आज से मध्य प्रदेश में बुरहानपुर जिले के बोदरली गांव से शुरू हो होकर दरियापुर होते हुए सेंट जेवियर स्कूल जैनाबाद फाटक पहुंची। स्कूल में चार बजे तक विश्राम करने के बाद यात्रा आगे बढ़ेगी। प्रियंका गांधी वाड्रा ने ट्वीट कर लिखा कि आज से भारत जोड़ो यात्रा मध्य प्रदेश में प्रवेश कर रही है। देशवासियों के समर्थन से राहुल गांधी के नेतृत्व में प्रेम व प्रगति का कारवां मजबूती से आगे बढ़ रहा है।
फिर आंदोलन की राह पर चलेगा संयुक्त किसान मोर्चा
संयुक्त किसान मोर्चा से जुड़े किसान संगठन फिर से आंदोलन की राह पर चलेंगे। प्रदेश स्तर पर किसानों के हितों के लिए संगठन 26 नवंबर को अपनी मांगों को लेकर चंडीगढ़ में एकत्र हो राज्यपाल को उनके निवास पर जाकर ज्ञापन देंगे।
भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय सचिव रतन सिंह सौरोत ने बुधवार को बताया कि राज्यस्तर पर यह अभियान चलेगा। ज्ञापन देने के लिए मोर्चे में शामिल सभी किसान संगठनों को निमंत्रण भेजा जा रहा है। उन्होंने बताया कि ज्ञापन में फसलों के स्वामीनाथन आयोग की रिपोर्ट के अनुसार सीटू प्लस-50 के फार्मूले के अनुसान न्यूनतम समर्थन मूल्य देने, कानूनी गारंटी लागू करने, वर्ष-2022 को पास किए गए बिजली संशोधन विधेयक को वापिस लेने, लखीमपुर खीरी में किसानों व पत्रकारों पर किए गए हमले के आरोपी केंद्रीय मंत्री अजय मिश्रा टोनी को बर्खास्त करने तथा उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग की जाएगी। इसके अलावा प्राकृतिक आपदाओं के कारण खराब होने वाली फसलों की क्षतिपूर्ति के लिए किसानों के हित के लिए व्यापक प्रभावी किसान फसल बीमा योजना लागू करने की मांग की जाएगी। उन्होंने बताया कि इसके अलावा सभी छोटे, मध्यम तथा सीमांत किसानों व कृषि श्रमिकों के लिए प्रति माह पांंच हजार रुपये पेंशन देने की मांग की जाएगी।
रायपुर : मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने एनपीएस की राशि, जीएसटी क्षतिपूर्ति की मांग दोहराई
बजट पूर्व बैठक में एक बार फिर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने एनपीएस की राशि की वापसी, जीएसटी क्षतिपूर्ति की भरपाई, कोल रॉयल्टी की राशि की मांग सहित राज्यहित के विभिन्न मुद्दे केंद्रीय वित्त मंत्री के सामने रखे। दिल्ली के मानेक शॉ सेन्टर में आयोजित बजट पूर्व बैठक में केंद्रीय वित्तमंत्री सुश्री निर्मला सीतारमण के साथ ही अन्य राज्यों के वित्तमंत्री भी हड़ताल मूल्य उपस्थित रहे। इस मौके पर मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने आम बजट 2023-24 को लेकर कई प्रस्ताव एवं सुझाव दिये।
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने उत्पाद दुकानों के संचालकों की कार्यशैली पर नाराजगी जतायी, अवैध शराब की बिक्री ना हो यह सुनिश्चित करें दुकानदार
Ranchi : मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की अध्यक्षता में सोमवार को झारखंड मंत्रालय में नयी उत्पाद नीति के तहत हड़ताल मूल्य राजस्व संग्रहण एवं इसकी क्रियान्वयन की विस्तृत समीक्षा की गयी. बैठक में मुख्य सचिव, उत्पाद सचिव, आयुक्त उत्पाद, विभाग के वरीय पदाधिकारी एवं खुदरा उत्पाद दुकानों के मानव प्रदाता एजेंसी के निदेशक तथा राज्य अंतर्गत कार्यरत थोक विक्रेता उपस्थित थे.
बैठक में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने उत्पाद दुकान संचालकों पर नाराजगी जताते हुए कहा कि उत्पाद दुकानों में कार्यरत कर्मियों का बकाया वेतन भुगतान अविलंब करें. मैन पावर सप्लाई एजेंसी यह सुनिश्चित करें कि खुदरा उत्पाद दुकानों में कार्यरत कर्मियों का वेतन बकाया न रहे. मुख्यमंत्री ने उत्पाद दुकान संचालकों से कहा कि अगले 15 दिनों के भीतर कार्यशैली में सुधार लायें अन्यथा राज्य सरकार की ओर से कार्रवाई सुनिश्चित की जायेगी. मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्पाद राजस्व संग्रहण घटने की क्या वजह है इसके मुख्य बिंदुओं पर जल्द से जल्द सुधार की जाये. उत्पाद राजस्व संग्रहण का जो वार्षिक लक्ष्य निर्धारित किया गया है उसे अगले 4 महीनों के भीतर हर हाल में पूरा करें. मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से कहा कि राज्य सरकार द्वारा झारखंड में नई शराब नीति बनायी गयी है. नयी नीति का उद्देश्य राजस्व में वृद्धि करना है. राजस्व वृद्धि में कमी के मद्देनजर मुख्यमंत्री ने मानव प्रदाता एजेंसी के सभी प्रतिनिधि को कड़ी फटकार लगायी. मुख्यमंत्री ने उन्हें सख्त हिदायत दिया कि वे अपनी जिम्मेदारी समझें एवं लक्ष्य के अनुरूप राजस्व प्राप्ति करने के सभी सार्थक प्रयास करें. अगले 15 दिनों के अंदर इनके कार्यों की पुन: समीक्षा की जायेगी एवं स्थिति में यथोचित सुधार नहीं होने पर सभी एजेंसी के विरुद्ध नियमानुसार कड़ी दंडात्मक कार्रवाई की जायेगी. मुख्यमंत्री ने कहा कि राजस्व संग्रहण में शिथिलता बरतने वाले एजेंसियों, थोक विक्रेताओं एवं पदाधिकारियों को बख्शा नहीं जायेगा.
मॉनिटरिंग सिस्टम डेवलप करें
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि खुदरा उत्पाद दुकानों की निरंतर मॉनिटरिंग की जाये. सरकारी खुदरा मदिरा दुकानों में किसी भी प्रकार से अवैध शराब की बिक्री न हो यह सुनिश्चित करें. मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में नकली शराब बनाकर बेचनेवालों पर कड़ी कार्रवाई करें. शराब के अवैध कारोबार में लिप्त लोगों के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई करने का निर्देश मुख्यमंत्री ने विभागीय पदाधिकारियों को दिया. मुख्यमंत्री ने संचालकों से कहा कि खुदरा हड़ताल मूल्य उत्पाद दुकानों का लगातार निरीक्षण करें. मुख्यमंत्री ने कहा कि खुदरा उत्पाद दुकानों में हड़ताल मूल्य कार्यरत कर्मियों की मिलीभगत की जांच भी सुनिश्चित करें. सभी खुदरा उत्पाद दुकानों का लक्ष्य निर्धारित करें. उत्पाद राजस्व संग्रहण लक्ष्य के अनुरूप होनी चाहिए. सभी खुदरा उत्पाद दुकानों के बाहर रेट लिस्ट डिस्प्ले लगायें. मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले दिनों ओवरप्राइसिंग की शिकायतें सुनने को मिली है. ओवरप्राइसिंग के संबंध में कार्रवाई सुनिश्चित करें. अवैध शराब एवं सरकार द्वारा निर्धारित कीमतों में हेरफेर करने वाले माफिया तथा दुकानदारों पर सख्त नजर बनाए रखें. एक्साइज कंट्रोल रूम को सशक्त बनायें. आम जनता का शिकायत मिलने पर विभाग तथा संचालक संयुक्त रूप से शिकायतों की जांच कर कार्रवाई सुनिश्चित करें.
15 दिसंबर तक लंबित वेतन का भुगतान का आदेश
बैठक में मुख्य सचिव ने मानव प्रदाता एजेंसियों को निर्देशित किया कि वे विक्रेताओं का लंबित वेतन का भुगतान 15 दिसंबर तक अवश्य कर दें. उन्होंने झारखंड राज्य विबरेज कॉरपोरेशन लिमिटेड के प्रबंध निदेशक को भी निर्देशित किया कि वे तकनीकी आधारभूत संरचना तथा विनिर्माणशालाओं में बूम वैरियर एवं दुकानों में सीसीटीवी अधिष्ठापन की कार्रवाई को शीघ्रता पूर्ण कराएं ताकि राजस्व क्षरण का कोई भी बिंदु अनछुआ न रह जाये.
बैठक में उत्पाद सचिव विनय कुमार चौबे ने मुख्यमंत्री को अवगत कराया कि वित्तीय वर्ष 2022-23 तक के माह नवंबर तक के कुल लक्ष्य 1600 करोड़ रुपये के विरुद्ध राज्य कोषागार में 1084 करोड़ रुपये ही जमा हुए हैं, जो कि माह नवंबर तक के लक्ष्य का लगभग 68% है. खुदरा उत्पाद दुकानों की Sale Efficiency 73.75% है. बिक्री की मुख्य जिम्मेवारी नियमानुसार मानव प्रदाता एजेंसियों की है. वांछित बिक्री के हड़ताल मूल्य आधार पर ही राजस्व लक्ष्य का संग्रहण संभव हो सकता है. लक्ष्य से कम हड़ताल मूल्य राजस्व वसूली के संबंध में मुख्यमंत्री के द्वारा पूछे जाने पर विभागीय सचिव ने अवगत कराया कि मानव प्रदाता एजेंसियां निर्धारित बिक्री लक्ष्य के अनुरूप मदिरा की बिक्री नहीं कर पा रही जिस कारण से राजस्व लक्ष्य में कमी परिलक्षित हो रही है. उन्होंने मुख्यमंत्री को यह भी अवगत कराया कि इस संबंध में विभागीय समीक्षा के क्रम में यह बातें सामने आयी हैं कि मानव प्रदाता एजेंसी द्वारा विक्रेताओं का वेतन इत्यादि का भुगतान नहीं किए जाने के कारण विक्रेता हतोत्साहित हैं. कतिपय दुकानों में विभागीय पदाधिकारियों द्वारा एमआरपी से अधिक मूल्य पर बिक्री, मदिरा में पानी मिलाने जैसे गतिविधि तथा अवैध मदिरा बिक्री जैसी अनियमितताएं भी दर्ज की गयी हैं. माह अक्टूबर में इनके द्वारा बिक्री लक्ष्य की प्राप्ति नहीं की गई थी जिस कारण से मानव प्रदाता एजेंसियों पर नियमानुसार 18.22 करोड़ रुपये का अर्थदंड अधिरोपित करते हुए इसकी वसूली की कार्रवाई की जा रही है.
हड़ताल मूल्य
- suryasamachar.com [Edited by: vanita]
- 25-11-2022 17:06:53 PM
हरियाणा में एमबीबीएस बॉन्ड पॉलिसी पर विवाद होना शुरू हो गया है। सबसे पहले तो यह समझना जरुरी है कि आखिर यह डॉक्टरों के लिए सरकार की बनाई गई बांड पॉलिसी है क्या।
आपको बता दें कि हरियाणा में डॉक्टरों के लिए एक पॉलिसी बनाई गई है जिसके तहत एमबीबीएस डिग्री के बाद 7साल तक नौकरी सरकार ही कर्ज लेगी और सरकार ही भरेगी। विद्यार्थियों से केवल बांड भरवाया जा रहा है, इसे सरकार कैश नहीं करेगी। अगर कभी जरूरत हुई तो इस पर बाद में फैसला लिया जाएगा।
मतलब कि 7साल तक एमबीबीएस करने वालों को सरकारी नौकरी करनी अनिवार्य होगी। अगर कोई प्राइवेट नौकरी करना चाहता है तो उसे बांड की राशि भरनी पड़ेगी। ऐसे में सवाल यह है कि अगर कोई अपने निजी कार्य या अपने अस्पताल में कार्य करने के लिए एमबीबीएस की पढ़ाई करता है तो वो सात साल तक ऐसा नहीं कर पायेगा।